हर सरकारी उपक्रम,संसाधन पर कराया जा रहा गुजराती पूंजीपतियों के कब्जा
लव इंडिया, लखनऊ। वर्तमान में गोविंद अडानी देश के अधिकांश सरकारी उपक्रमों, संस्थानों का मालिक बन गया है।मात्र 7 साल में गुजरात का एक क्षेत्रीय व्यापारी आज देश के लगभग हर धंधे और संसाधन पर कब्ज़ा कर चुका है। घर, बिजली, पानी, तेल, दाल, अनाज, सड़क,रेल,सेल, गेल, भेल,एयरपोर्ट, सी- पोर्ट, स्टेशन,ओएनजीसी, एनटीपीसी, कोल ब्लॉक से लेकर हॉस्पिटल और एनजीओ तक सब पर अडानी का कब्ज़ा हो गया है।
भारतीय ओबीसी महासभा के राष्ट्रीय प्रवक्ता चौ.लौटनराम निषाद ने कहा कि देश के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी व गृहमंत्री अमित शाह देश की पूरी अर्थव्यवस्था को गुजराती पूंजीपतियों के हाथों में सौप रहे हैं। धीरे धीरे सभी सरकारी उपक्रमों व संस्थानों का निजीकरण अडानी,अम्बानी जैसे गुजरातियों के हाथ मे देते जा रहे है।जायज सवाल यह है कि इनमे से कितनी चीजें अडानी ने खुद बनाई है ? या कितने में उसका पैसा लगा है? जवाब है 99% चीजें उसे मोदी सरकार ने गिफ्ट की है और 99.99% चीजों में उसका नहीं आपका मतलब सरकारी बैंक का पैसा लगा है। उसकी तरफ जो आँख उठाएगा वो आज देश में सुरक्षित नहीं रहेगा। उसके खिलाफ ईडी,सीबीआई, इनकम टैक्स की टीम लगा दी जाएगी।
लौटनराम निषाद ने कहा कि छत्तीसगढ़ कांग्रेस सरकार ने राहुल गाँधी के हस्तक्षेप के बाद हसदेव जंगल में अडानी खदान का विरोध किया तो अडानी ने राहुल गाँधी के पीछे ईडी लगवा दिया। वरना कोई ईडी से पूछे की अगर सुब्रमण्यम स्वामी द्वारा यह केस 8 साल पहले रिपोर्ट हुआ था तो आज तक आप घास काट रहे थे क्या?और अडानी की पूँछ पर पांव पड़ते ही फटाक से ईडी को सुबूत मिल गए?कांग्रेस को मिटाने की जो कोशिश हो रही है वह लोकतंत्र, संविधान के लिए अशुभ संकेत है।आज आवश्यकता है लोकतंत्र व संविधान को बचाने के लिए कांग्रेस का साथ देने की।लोकतंत्र के लिए हमें एक विपक्ष की सख्त जरूरत हमेशा रहेगी।
निषाद ने कहा कि आरएसएस भारतीय संविधान व लोकतंत्र को खत्म करने के षड़यंत्र में पूरी तरह जुटा हुआ है।सरकारी संस्थानों का निजीकरण संविधान व सामाजिक न्याय विरोधी है।संघ देश की पूरी अर्थब्यवस्था के चंद पूंजीपतियों के माध्यम से अपने कब्जे में लेने में जुटा हुआ है।आश्चर्य की बात है कि अडानी को एयरपोर्ट 50 साल के लिए,अम्बानी को तेल सप्लाई का ठेका 40 साल के लिए,नेतापुत्रों को टोल टैक्स का ठेका 30 साल के लिए और देश के लिए सीने पर गोली झेलने वालों को संविदा पर नौकरी 4 साल के लिए।अग्निवीर के बहाने आरएसएस संघीय हमलावर तैयार करने में जुटा हुआ है।
उन्होंने जनरल वी के सिंह से सवाल किया है कि आपने 35 साल नौकरी करने के बाद 6 महीने के सेवा विस्तार के लिए न्यायालय का दरवाजा खटखटाये और आज बेशर्मी की हद पार करते हुए 4 वर्ष के लिए संविदा पर अग्निवीरों की नियुक्ति का समर्थन कर रहे,अपने तो डबल पेंशन ले रहे।उन्होंने कहा कि संघ सेना को अपने कब्जे में लेने की रणनीति में जुटा हुआ है जो देश की सुरक्षा, अस्मिता, लोकतंत्र, संविधान के लिए घातक है।