Indian Railways: आम बजट से पहले पढ़िए रेलवे और आर्थिक सर्वेक्षण…

भारतीय रेलवे और आर्थिक सर्वेक्षण

वित्त वर्ष 2025 के दौरान, अब तक रेलवे नेटवर्क के विस्तार की प्रगति पिछले वर्ष के बराबर स्तर पर रही जबकि रोलिंग स्टॉक की संख्या में भी काफी वृद्धि हुई। अप्रैल और अक्टूबर 2024 के बीच, 17 जोड़ी नई वंदे भारत रेल गाड़ियां नेटवर्क में शामिल की गई और 228 कोच तैयार किए गए।

रेलवे पर हाल ही में हुई प्रगति, रेल प्रणाली पर हुई हालिया पहल

गति शक्ति मल्टी मॉडल कार्गो टर्मिनल (जीसीटी) 31 अक्टूबर, 2024 तक 91 जीसीटी शुरू किए गए और 234 स्थानों को मंजूरी दी गई।

शुद्ध शून्य कार्बन उत्सर्जन

भारतीय रेलवे ने 2029-30 तक 30 गीगावॉट नवीकरणीय ऊर्जा का लक्ष्य रखा है जिसमें अक्टूबर, 2024 तक 375 मेगावाट सौर और 103 मेगावाट पवन ऊर्जा चालू की जाएगी।
प्रमुख आर्थिक गलियारे

तीन रेलवे गलियारों के अंतर्गत 11.17 लाख करोड रुपए मूल्य की 434 परियोजनाओं की पहचान की गई है जिन्हें प्रधानमंत्री गति शक्ति पोर्टल पर मैप किया गया है।

सार्वजनिक निजी भागीदारी –

इसके अंतर्गत 17 परियोजनाएं पूरी हो चुकी हैं 16,434 करोड रुपए और 8 परियोजनाऐं 16614 (करोड रुपए) चल रही हैं।

प्रमुख परियोजनाएं –

मुंबई अहमदाबाद हाई स्पीड रेल परियोजना – दिसंबर, 2015 में मंजूर की गई तथा जापान के सहयोग से चलाई जा रही इस 508 किलोमीटर लंबी परियोजना की संशोधित लागत 1. 08 लाख करोड रुपए हो गई है। अक्टूबर 2024 तक इस पर 67,486 करोड रुपए के व्यय के साथ इसका 47.17 प्रतिशत कार्य पूरा हो गया है।

डेडीकेटेड फ्रेट कॉरिडोर –

नवंबर 2024 तक 2843 किलोमीटर के डीएफसी नेटवर्क का 2741 किलोमीटर 96.4% पूरा हो गया है। डीएफसी ने यात्री रेलगाड़ी के हस्तक्षेप के बिना माल ढुलाई की मात्रा में वृद्धि करके भारत में लॉजिस्टिक का स्वरूप बदल दिया है।

रेलवे में अभी यात्री सुविधाएं बढ़ाने के लिए उठाए जाने वाले कदम-

भारतीय रेलवे यात्री अनुभव और स्टेशन सुविधाओं को बढ़ाने के लिए अनेक पहल कर रहा है। स्टेशन पुनर्विकास, किफायती स्वास्थय सेवा, खानपान सेवाओं में सुधार और स्थानीय कारीगरों को समर्थन देने जैसी प्रमुख परियोजनाएं इसमें शामिल हैं।

अमृत भारत स्टेशन योजना

इस पहल के अंतर्गत रेलवे स्टेशनों पर सुविधाएं बढ़ाने के उद्देश्य से पुनर्विकास के लिए 1337 स्टेशनों की पहचान की गई है इसमें से 1197 पर काम शुरू हो गया है।

प्रधानमंत्री भारतीय जन औषधि केंद्र

रेलवे स्टेशनों से गुजरने वाले यात्रियों के स्वास्थ्य और कल्याण हेतु रेलवे स्टेशन परिसरों में 50 प्रधानमंत्री भारतीय जन औषधि केन्द्र पार्टी खोले गए हैं। इसके अलावा 13 नंबर 2024 को ऐसे 18 नए केंद्र खोले गए जो रेलवे स्टेशन पर सस्ती दवाइयां और स्वास्थ्य सेवाएं प्रदान करेंगे।

भोजन और खानपान सेवाएं

मोबाइल खानपान के प्रबंधन के लिए एक नई नीति 14 नवंबर 2023 को शुरू की गई थी इसके परिणाम स्वरुप 23 नवंबर 2024 तक 557 बेस किचन खोले गए हैं जो 468 जोड़ी रेलगाड़ियों को सेवा प्रदान करेंगे।


एक स्टेशन एक उत्पाद –

यह योजना 1900 स्टेशनों पर लागू है जिसमें 2163 आउटलेट है जो 79,380 स्थानीय कारीगरों को उनके उत्पादों की बिक्री में अवसर प्रदान करके लाभान्वित करते हैं।

यात्री सुविधाऐं

यात्री अनुभव को बढ़ाने के लिए 1351 स्टेशनों पर ट्रेन सूचना बोर्ड लगाए गए हैं, 886 स्टेशनों पर कोच गाइडेंस प्रणाली और 6112 स्टेशनों पर वाई-फाई उपलब्ध कराया गया है।

रेलवे में सिग्नल प्रणाली को बेहतर बनाने के लिए पहल – भारतीय रेलवे अपने विशाल नेटवर्क में परिचालन दक्षता और संरक्षा बढ़ाने के लिए अपनी सिग्नलिंग और संरक्षा प्रणालियों का आधुनिकीकरण कर रही है। कुछ प्रमुख अपडेट निम्नानुसार हैं-
मैकेनिकल सिग्नल प्रणाली को हटाना

भारतीय रेलवे में मैकेनिकल सिग्नल के स्थान पर इलेक्ट्रिक/ इलेक्ट्रॉनिक इंटरलॉकिंग प्रणाली लग रही है। वित्त वर्ष 2025 में 62 लंबित स्टेशनों में से 25 को इलेक्ट्रिक/ इलेक्ट्रॉनिक इंटरलॉकिंग प्रणाली में अपग्रेड किया गया है। 9 जोनल रेलवे अब मैकेनिकल सिग्नल मुक्त हो गए हैं।

कवच – स्वदेशी रूप से विकसित इस ट्रेन सुरक्षा प्रणाली में 1547 करोड रुपए का निवेश नवंबर 2024 तक किया गया है। इसके तकनीकी संस्करण 4.0 को 16 जुलाई 2024 को मंजूरी दी गई है।

इलेक्ट्रॉनिक इंटरलॉकिंग – वित्त वर्ष 2025 में 227 स्टेशनों पर ईआई (इलेक्ट्रॉनिक इंटरलॉकिंग) प्रणाली लगाई गई है। जिसमें कुल 3576 स्टेशनों का कवरेज बढ़ गया है। पहले डायरेक्ट ड्राइव इंटरलॉकिंग प्रणाली नवंबर 2024 में ताजपुर स्टेशन पर शुरू की गई।

ऑटोमेटिक ब्लॉक सिगनलिंग – उच्च घनत्व वाले मार्गो पर क्षमता विस्तार के लिए ऑटोमेटिक ब्लॉक सिग्नलिंग प्रणाली लगाई गई है। इस वित्तीय वर्ष में 720 रूट किलोमीटर पूरे हो गए हैं जिसे कवरेज बढ़कर कुल 4906 किलोमीटर हो गया है।
इलेक्ट्रॉनिक इंटरलॉकिंग के लिए सिग्नल डिजाइन ऑटोमेशन – यह टूल स्टेशन इंटरलॉकिंग के लिए रूट कंट्रोल चार्ट जनरेशन को स्वचालित करता है। इसका 5.0 संस्करण 19 सितंबर 2024 को जारी किया गया है।

लॉजिस्टिक्स और फिजिकल कनेक्टिविटी आधारित सेवाओं में प्रगति …भारतीय रेलवे : विकास को पटरी पर बनाए रखते हुए –

• भारतीय रेलवे दुनिया का चौथा सबसे बड़ा नेटवर्क है। भारतीय रेलवे पर मूल यात्री यातायात में पिछले वर्ष की तुलना में 8% की वृद्धि हुई है। वित्त वर्ष 2024 में मालभाड़ा राजस्व आय में 5.2% की वृद्धि हुई है।

• बढ़ते यात्री यातायात को देखते हुए सरकार यात्री सुविधाओं को बेहतर बनाने के लिए कई कदम उठा रही है। नवंबर 2024 तक देश भर के कुल 7325 स्टेशनों में से 1351 स्टेशनों पर ट्रेन इंडिकेशन बोर्ड, 886 स्टेशनों पर कोच गाइडेंस सिस्टम, 5605 स्टेशनों पर डिजिटल घड़ियां और 6071 स्टेशनों पर जन उद्घोषणा प्रणाली लगाई गई है। 6,112 स्टेशनों पर वाई-फाई सुविधा प्रदान की गई है। 2023 में मोबाइल कैटरिंग सेवाओं के प्रबंधन के लिए एक नई नीति पेश की गई है। अब तक 468 जोड़ी ट्रेनों के लिए 557 बेस किचन चालू किया जा चुके हैं। भारतीय रेलवे पर डिजिटलीकरण की दिशा में किए गए प्रयासों के परिणाम स्वरुप अक्टूबर 2024 तक आरक्षित क्षेत्र में ई- टिकटिंग 86% तक पहुंच गई है। अनारक्षित क्षेत्र में डिजिटल माध्यमों से ली जाने वाली टिकटों में वृद्धि चालू वित्त वर्ष की शुरुआत में 28% से बढ़कर अक्टूबर 2024 तक 33% की वृद्धि हुई है। भारतीय रेलवे ने रिफंड प्रक्रिया को भी बदला है जिससे 98% मामलों में 24 घंटे के भीतर रिफंड संभव हो गया है। सभी काउंटरों पर डायनेमिक क्यू आर कोड आधारित भुगतान सक्षम किया गया है। क्लाउड नेटिव प्रौद्योगिकियों के उपयोग से यात्री आरक्षण प्रणाली का पुनर्विकास किया जा रहा है।

पर्यटन – पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए भारत गौरव रेल गाड़ियां को थीम आधारित पर्यटक सर्किट ट्रेनों के रूप में पेश किया गया है, जो भारत की समृद्ध सांस्कृतिक विरासत और शानदार ऐतिहासिक स्थानों को प्रदर्शित करती है। इस योजना के तहत सेवा प्रदाता को भोजन, आवास परिवहन, दर्शनीय स्थल, टूर गाइड इत्यादि सेवाएं प्रदान की जाती हैं। आज तक भारत गौरव ट्रेन के कुल 325 फेरों से विभिन्न यात्री गंतव्यों के लिए 1,91, 033 पर्यटकों को सेवा प्रदान की गई है।

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