We are ready to give our full support to Togo in future too: Lok Sabha Speaker: कहा- उम्मीद है कि देश में संवैधानिक बदलावों से बढ़ेंगी संसद की शक्तियां

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लोकसभा अध्यक्ष ने आगे लिखा – भारत और टोगो के बीच हमेशा से सौहार्दपूर्ण और मैत्रीपूर्ण द्विपक्षीय संबंध रहे हैं। उन्होंने कहा कि टोगो के प्रतिनिधिमंडल को बताया कि भारत ने टोगो के सामाजिक-आर्थिक विकास के लिए अपना पूरा समर्थन दिया है और हम भविष्य में भी टोगो को अपना पूरा समर्थन देने के लिए तैयार हैं। लोकसभा अध्यक्ष ने बताया कि टोगो प्रतिनिधिमंडल लोकसभा सचिवालय में प्रशिक्षण ले रहा है और मैंने आशा व्यक्त की कि भारत की संसदीय परंपराओं, प्रथाओं और प्रक्रिया और समिति प्रणाली को समझना उनके लिए बेहद फायदेमंद होगा। चूंकि टोगो में सकारात्मक संवैधानिक परिवर्तन किए जा रहे हैं जो लोकतंत्र को मजबूत करेंगे, ऐसे प्रशिक्षण कार्यक्रम विधायिका की क्षमता को बढ़ाएंगे। वहीं 1947 में संसदीय लोकतंत्र की ओर भारत की यात्रा और भारतीय संविधान के निर्माण की प्रक्रिया को याद करते हुए ओम बिरला ने कहा कि यह प्रक्रिया काफी लंबी थी क्योंकि संविधान निर्माताओं ने दुनिया के सभी प्रमुख संविधानों का बारीकी से अध्ययन किया और भारतीय संविधान में उनकी सर्वश्रेष्ठ विशेषताओं को शामिल किया।  बता दें कि वर्तमान में टोगो में राष्ट्रपति शासन प्रणाली है, जिसे बदलकर अब वहां संसदीय लोकतांत्रिक शासन प्रणाली लागू की जा रही है। संसदीय लोकतांत्रिक प्रणाली पर जोर देते हुए ओम बिरला ने कहा कि लोकतंत्र में संसद नागरिकों की संप्रभु आकांक्षाओं का प्रतिबिंब होती है। उन्होंने कहा कि इस सर्वोच्च मंच पर लोगों की समस्याओं और चिंताओं पर चर्चा की जाती है और सामूहिक सहमति से समाधान निकाला जाता है।

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