टीएमयू में बेबीडॉल फेम मीत ब्रदर्स का सिर चढ़कर बोला जादू

तीर्थंकर महावीर यूनिवर्सिटी के दीक्षांत समारोह-2024 के क्रम में एनुअल कल्चरल मीट- रॉक ऑन में बालीबुड के नामचीन संगीतकार- मनमीत सिंह और हरमीत सिंह- मीत ब्रदर्स के सुर और साज पर देर रात तक झूमते रहे टीएमयू के हजारों स्टुडेंट्स

लव इंडिया, मुरादाबाद। रंग-बिरंगी रोशनी से चौंधियाती आंखें। सुर और साज का अदभुत संगम। थिरकन। सीटियों और तालियों की गड़गड़ाहट। वन्स मोर, वन्स मोर का शोर। हजारों मोबाइल्स की फ्लैश अपनों को कैद करने को आतुर। पंजाबी से लेकर बालीवुड तक के पसंदीदा गानों की फरमाइशें। जोश, उत्साह और जुनून से लबरेज थिरकते हजारों-हजार स्टुडेंट्स। यह दृश्य किसी फिल्म का नहीं, बल्कि तीर्थंकर महावीर यूनिवर्सिटी, मुरादाबाद के भव्य पंडाल का है, क्योंकि एनुअल कल्चरल मीट- रॉक ऑन में बालीबुड के नामचीन संगीतकार- मनमीत सिंह और हरमीत सिंह के गीतों पर कड़कड़ाती ठंड में छात्र मदहोश हैं। मद्धिम-मद्धिम रात ढलान की ओर है। फरमाइशों का सिलसिला थमने का नाम नहीं ले रहा है। बैकग्राउंड म्यूजिक गली-गली में शोर है…के संग मीत ब्रदर्स- मनमीत सिंह और हरमीत सिंह जब स्टेज पर आए तो पूरा पंडाल सीटी और तालियों की गड़गड़ाहट से गूंज उठा। बारी-बारी से मीत ब्रदर्स ने गानों की झड़ी लगा दी। मीत ब्रदर्स की दमदार प्रस्तुति पर भव्य पंडाल में मौजूद हजारों छात्र-छात्राएं संग-संग नाचते-गाते मस्ती में नज़र आए। यह बात दीगर है, दिसंबर की ठंडी-ठंडी हवाएं कंपकपी का अहसास करा रही थीं तो वहीं मीत ब्रदर्स अपने सुरों और साज से स्टुडेंट्स को मदहोश किए हुए थे। यह कहें तो कोई अतिश्योक्ति नहीं होगी कि मीत ब्रदर्स तीर्थंकर महावीर यूनिवर्सिटी के इस विशाल परिवार को नववर्ष- 2025 का अनमोल तोहफा दे गए। रॉक ऑन में कुलाधिपति श्री सुरेश जैन, फर्स्ट लेडी श्रीमती वीना जैन, जीवीसी श्री मनीष जैन, श्रीमती ऋचा जैन, एग्जिक्यूटिव डायरेक्टर श्री अक्षत जैन, श्रीमती जहान्वी जैन और सुश्री नंदिनी जैन की उल्लेखनीय मौजूदगी रही।

मीत ब्रदर्स ने अपने परफॉर्मेंस की शुरूआत बेबीडॉल मैं सोने दी….से की तो स्टुडेंट्स झूम उठे। हजारों मोबाइल्स की फ्लैश चमक उठी। स्टुडेंट्स में अपने मीत ब्रदर्स की पिक्स लेने की होड़ लग गई। भव्य पंडाल के दृश्य देखते ही बनते थे। एक ओर हजारों छात्राओं का हुजूम था तो दूसरी ओर छात्रों का जमावड़ा रहा। इस मंजर से गद्गद मीत ब्रदर्स बोले, हमें नहीं पता, दुनिया 31 दिसंबर कब मनाएगी, लेकिन हम 2024 को आज ही अलविदा कह रहे हैं। इस दीवानगी से अहसास होता है, टीएमयू के स्टुडेंट्स म्यूजिक लवर्स हैं। जबर्दस्त एनर्जेटिक हैं। यूनिवर्सिटी के इन हजारों स्टुडेंट्स को हमारा सैल्यूट है। इसे बाद चिट्टियां कलाइयां वे… दिल ले गई कुड़ी गुजरात दी… तनु काला चश्मा जंचदा है जंचदा है गोरे मुखड़े पे… दिल चोरी साडा हो गया… कुडियां दे कुडियां… गीतों के बीच सिल्वर कलर की जैकेट में बडे़ भाई मनमीत सिंह गेस्ट्स, फैकल्टीज़, स्टुडेंट्स के बीच आए तो लोग अपने आपको थिरकने से नहीं रोक पाए, जबकि लाल जैकेट पहने छोटे भाई हरमीत सिंह ने स्टेज संभाला। नतीजतन मीत ब्रदर्स ने दर्शकों के जोश को बरकरार रखा। इससे पूर्व पंजाबी और हिंदी फिल्मों की अभिनेत्री एवम् प्लेबैक सिंगर खुशबू ग्रेवाल ने ये मेरा दीवानापन है या मुहब्बत का कसूर सरीखे प्रेम गीतों के साथ स्टुडेंट्स को बार-बार झूमने पर मजबूर किया। हॉस्ट उपासना गिल ने जबर्दस्त माहौल तैयार किया। रॉक ऑन में वीसी प्रो. वीके जैन, श्री अभिषेक कपूर, प्रो. एमपी सिंह, प्रो. आरके द्विवेदी, श्री मनोज जैन, श्रीमती नीलिमा जैन, प्रो. विपिन जैन, श्री अजय गर्ग, श्री विपिन जैन, प्रो. एसके सिंह, प्रो. एसके जैन, श्री नवनीत कुमार सिंह, प्रो. एसपी सुभाषिनी, प्रो. मनु मिश्रा, प्रो. जसीलन एम., डॉ. शिवानी एम. कौल, डॉ. मनोज राणा आदि की अपने परिजनों के साथ शहर के गणमान्य व्यक्तियों की भी गरिमामयी मौजूदगी रही।

मीत ब्रदर्स की कहानी भी फिल्मी पटकथा जैसी

बालीवुड की फेमस संगीतकार जोड़ी मनमीत सिंह और हरमीत सिंह का सफरनामा किसी फिल्मी पटकथा-सा है। ग्वालियर से लेकर मुंबई तक के सफर में बहुत उतार-चढ़ाव रहे। अभिभावकों की इच्छा भी भिन्न-भिन्न रही है। मीत ब्रदर्स यूं तो मुंबई में फिल्मी हीरो बनना चाहते थे, लेकिन बन गए सुर और साज के शहंशाह। यह तो वाहे गुरु की कृपा है, बिना संगीत की शिक्षा के बुलंदियां छू रहे हैं। यूं तो रिश्ते में दोनों छोटे-बड़े सगे भाई हैं, लेकिन एक-दूसरे के प्रति समर्पण बेमिसाल है। मीत ब्रदर्स यह भी मानते हैं, पेशे में हमारे बीच एमओयू साइन है। वे अपनी आवाज में पंजाब की मिट्टी की सौंधी-सौंधी खुशबू का अहसास करते और कराते हैं।

बेबीडॉल गर्ल सनी लियोन मिष्ठी दोई सरीखी

फिल्म फेयर पुरस्कार विजेता मीत ब्रदर्स- मनमीत सिंह और हरमीत सिंह बेहिचक स्वीकारते हैं कि सनी लियोन हमारी टीम की एक अहम कड़ी है। कहते हैं, हमारी किस्मत एक-दूसरे से जुड़ी है। जैसे ही हम साथ आए, गाने सुपरहिट होने लगे। सच्चाई यह है, अब अगर कोई सनी को कास्ट करना चाहता है तो वह हमें ही ढूंढता है। यह हमारी बीच बांडिंग का ही प्रतिफल है, सनी के आने वाले सभी गाने हम ही कंपोज कर रहे हैं। मीत ब्रदर्स मानते हैं, यूथ को मसाला चाहिए। सनी लियोन कोई डाइट फूड नहीं है, बल्कि नमक, तड़का और मिर्च की मानिंद है। खूबसूरत है। मेहनती है। इंटरनेशनल फिगर है। बहुत प्रोफेशनल है। मीत ब्रदर्स कहते हैं, क्या हम सनी को हॉट पाते हैं। नहीं… नहीं…. वह बहुत स्वीट है। वह मिष्ठी दोई है। उल्लेखनीय है, यह बंगाल का एक पारंपारिक मीठा दही है। यह दूध और चीनी या गुड से तैयार किया जाता है।

हमारी बीट्स उछाल भरी हैं तो धुनें खुशनुमा

पॉप सिंगर- हनी सिंह और बादशाह हमारे कतई प्रतिद्वंदी नहीं है। हन्नी हमारा अच्छा दोस्त ही नहीं, बल्कि भाई है। हमने बॉस में एक गाना साथ में किया है। हन्नी की एक अलग शैली है, जिसका हम दिल की गहराइयों से सम्मान करते हैं। हम बहुमुखी हैं। पंजाबी हैं। बॉलीं, ठुमरी, सूफी सबकुछ करते हैं। हम संगीत के जरिए दुनिया में प्यार फैलाने में विश्वास करते हैं। हमारा संगीत खुशनुमा है। हम पंजाबी हैं, इसीलिए बीट उछाल भरी है। धुनें खुशनुमा हैं। दुनिया में कोई भी संगीत प्रेमी सुबह उठते ही दुःख भरा गाना नहीं सुनना चाहता, लेकिन आप दिन में कभी भी बेबीडॉल सुन सकते हैं। हम ऐसे लोगों के लिए संगीत बना रहे हैं, जो जटिल संगीत को नहीं समझ पाते हैं। हमारी धुनें कविता की मानिंद हैं, जिन्हें एक बच्चा भी समझ सकता है।

मां और पिता की चाह थी एक-दूसरे से दीगर

मूल रूप से ग्वालियर के रहने वाले मीत ब्रदर्स पंजाबी भाई हैं। इनकी शुरूआती शिक्षा सिंधिया कन्या विद्यालय में हुईं। इसके बाद वे उच्च शिक्षा के लिए मुंबई चले गए। दोनों भाइयों ने अपनी ग्रेजुएशन मुंबई में पूरी की। मां निम्मी गुलजार की इच्छा थी कि दोनों भाई मुंबई जाकर नाम कमाएं, लेकिन पिता गुलजार सिंह की चाहत थी कि शिक्षा पूूरी करने के बाद दोनों बेटे पारिवारिक कारोबार संभालें। फिल्मों में कदम रखने के लिए मनमीत सिंह और हरमीत सिंह ने एक्टिंग को चुना। एकल गाने जोगी सिंह बरनाला सिंह की सफलता के बाद मीत ब्रदर्स ने एक्टिंग का मोह छोड़कर संगीत की दुनिया में जाने का फैसला किया और इसके बाद उन्होंने कई फिल्मों में संगीत निर्देशक के तौर पर काम किया। ख़ास बात यह है, दोनों भाई ने संगीत की औपचारिक शिक्षा ग्रहण नहीं की है।

मीत ब्रदर्स के नाम के पीछे की कहानी भी बड़ी दिलचस्प

मीत ब्रदर्स के नाम के पीछे की कहानी भी बड़ी दिलचस्प है। कहते हैं ना नाम ही काफी है। कॉलेज टाइम में मनमीत सिंह और हरमीत सिंह के दिमाग में कौंधने लगा था कि अपनी इस जोड़ी का क्या नाम रखा जाए? करीब 16 नामों पर माथापच्ची हुई। जैसे- तंदूरी ब्रदर्स, बैंड ऑफ ब्वायज़, बैंड ऑफ ब्रदर्स, भांगड़ा, ब्रदर्स, पंजाबी ब्रदर्स आदि को शॉटलिस्ट किया। अंततः उन्होंने अपने नामों- मनमीत और हरमीत के आखिरी हिस्से को मिलाकर मीत ब्रदर्स का नाम दिया। उन्होंने खुद का रिकॉर्डिंग स्टुडियो खोला, जिसका नाम मीत ब्रोस रिकॉर्डिंग स्टूडियो रखा। इनके गाए- पिंक लिप्स, हैंगओवर, पार्टी तो बनती है, चिट्टियां कलाइयां जैसे गीत हिट हुए और युवाओं के बीच में उनकी एक विशेष पहचान बन गयी। अब मीत ब्रदर्स देश-विदेश मे बडे़-बड़े कॉन्सर्ट करते हैं। फिल्म फेयर अवार्ड सरीखा बड़ा पुरस्कार भी इनकी झोली में हैं।

टाइगर फेम सलमान को दिया बतौर सिंगर डेब्यू मौका

बॉलीवुड के टाइगर फेम सलमान खान को बतौर सिंगर डेब्यू करने का श्रेय मीत ब्रदर्स को जाता है। किक फिल्म के जाने-माने गाने हैंगओवर सुनने के बाद सलमान खान ने कहा, ये तो मैं ही गाऊंगा और किसी को गाने नहीं दूंगा। 2014 में अपने 25 साल के करियर में उन्होंने पहली बार कोई गाना गाया। मीत ब्रदर्स का गर्व से मानना है, बॉलीवुड के मशहूर संगीतकारों के साथ काम करने के बाद भी अगर खान ने हमारे साथ बतौर गायक डेब्यू किया तो यह हमारे लिए बहुत बड़ी बात है। उन्होंने इस गाने को परफेक्ट बनाने के लिए तीन दिनों तक कड़ी मेहनत की। हैं। वे हर लाइन को अलग-अलग स्टाइल में 100-150 बार गाते थे, क्योंकि उन्हें अपनी पिच परफेक्ट करनी थी। वैसे तो सलमान सर को काबू करना शेर को काबू करने जैसा है, लेकिन समर्पण के मामले में वे किसी भी गायक को मात दे सकते हैं। हमें ऐसा लगा जैसे हम किसी नए गायक को प्रशिक्षित कर रहे हैं।

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