रतनपुर कलां में ग्रामीणों के स्वास्थ्य से खिलवाड़ कर रहा ओटी टेक्नीशियन, बन बैठा डॉक्टर

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लव इंडिया, मुरादाबाद। स्वास्थ विभाग के आला अधिकारियों की सांठगांठ के चलते ओटी टेक्नीशियन झोलाछाप डॉक्टर बन गया है और ग्रामीणों के जीवन से खिलवाड़ कर रहा है।

स्वास्थ विभाग के आला अधिकारियों की जिम्मेदारी आम आदमी के जीवन की रक्षा करना है लेकिन यहां उल्टा हो रहा है और स्वास्थ विभाग के आला अधिकारियों की निगरानी में ही आम आदमी के जीवन से खिलवाड़ करने के लिए झोलाछाप की फौज तैयार हो रही है इसका एक और ताजा उदाहरण गांव रतनपुर कला है जहां गुमसानी अड्डे के सामने ओटी टेक्निशियन शऊद ने खुद का अस्पताल खोल दिया है और अपने को डॉक्टर घोषित भी कर दिया है जबकि शऊद के पास किसी भी तरह की कोई डिग्री नहीं है। इस सब के विपरीत खास बात यह है की इनके अस्पताल का मुख्य चिकित्सा अधिकारी के कार्यालय में पंजीकरण भी नहीं है बावजूद इसके बीएफ खुलेआम मरीजों को देख ही नहीं रहे बल्कि भर्ती भी कर रहे हैं किया है।

आप ऊपर जो है या पोस्टर देख रहे हैं यह डॉक्टर शऊद के हॉस्पिटल का ही है और इसका नाम एनएम हेल्थ केयर सेंटर रखा है और मरीजों को आकर्षित करने के लिए डॉ अनुज कुमार एमबीबीएस और डॉक्टर दीक्षांशी के नाम लिखे गए हैं।

इसी बात पर डॉक्टर शऊद के अलावा डॉक्टर सलीम का नाम भी दर्ज है और जब इस संबंध में डॉ शऊद से बातचीत की गई तो उन्होंने बताया कि यह अस्पताल डॉक्टर सलीम के नाम से मुख्य चिकित्सा अधिकारी कार्यालय में पंजीकृत है और वह डी एन वाई एस डिग्री धारक है जबकि देशभर में किसी भी मेडिकल बोर्ड द्वारा डी एन वाई एस डिग्री नहीं दी जाती क्योंकि बी एन वाई एस डिप्लोमा है और इसके तहत सिर्फ नेचुरोपैथी अर्थात प्राकृतिक चिकित्सा के तहत हवा मिट्टी पानी से ही उपचार किया जाता है और इसमें किसी तरह की एलोपैथ आयुर्वेद या फिर यूनानी दवा का इस्तेमाल नहीं होता लेकिन डॉक्टर शऊद इससे इनकार करते हैं और कहते हैं कि हमें एलोपैथी दवाओं से इलाज करने का अधिकार है।

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