अब जिला नेत्र चिकित्सालय में रेटिना का नॉन-इमेजिंग टेस्ट

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लव इंडिया, मुरादाबाद। जिलाधिकारी शैलेन्द्र कुमार सिंह ने जिला नेत्र चिकित्सालय में सिरस 5000 एचडी-ओसीटी(ऑप्टिकल कोहेरेंस टोमोग्राफी)मशीन का फीता काटकर उद्घाटन किया एवं दीप प्रज्वलित किया। सिरस 5000 एचडी-ओसीटी के लिए नए पूर्वकाल खंड लेंस संलग्नक के साथ प्राप्त किए गए दो अलग-अलग पूर्वकाल खंड इमेजिंग तौर-तरीकों का उपयोग करके सेंट्रल कॉर्नियल थिकनेस (सीसीटी) माप की पुनरावृत्ति और प्रतिलिपि प्रस्तुत करने योग्यता का निर्धारण करने के लिए है।

ऑप्टिकल कोहेरेंस टोमोग्राफी या ओसीटी नेत्र विज्ञान (ऑपथलमॉलजिस्ट) की मेडिकल फील्ड में इस्तेमाल की जाने वाली एक तकनीक है, जिसमें आंख के रेटिना पार्ट का एक नॉन-इमेजिंग टेस्ट किया जाता है। इस तकनीक में मशीन आंख की रेटिना की परतों की छवि को कैप्चर करती है। ओसीटी मुख्य से इन छवियों को कैप्चर करने के लिए प्रकाश तरंगों का इस्तेमाल करती है, जिससे कारण नेत्र रोग विशेषज्ञों को कई परतों की मोटाई को मैप करने और मापने में मदद मिलती है।

इसके अलावा ओसीटी को न्यूरोलॉजिकल फील्ड में भी इस्तेमाल किया जाता है। ओसीटी नेत्र रोग विशेषज्ञों को उम्र से संबंधित रेटिनल और ग्लूकोमा जैसी कुछ अन्य बीमारियों का पता लगाने में भी मदद करती है। आसान शब्दों में कहें, तो ऑप्टिकल कोहेरेंस टोमोग्राफी (ओसीटी) प्रावदा संवाददाता मशीन एक नॉन-इनवेसिव तकनीक है, जो आंख में बिना किसी चीरे के काम करती है।

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